संयोग से गाली देनेवाला पात्र ब्राह्मण था. ब्राह्मण यानी ब्रह्म का ज्ञाता और गाली...!
5.
लेकिन यदि हमारे साथी आवारा, गाली देनेवाला तथा झगड़ालू स्वभाव के हैं तो हम भी गालियाँ देने में संकोच नहीं करेंगे।
6.
अभी किसीको गालियाँ दीं, उस दिन से गाली देनेवाला इस ताक में ही रहता है कि कब मिले और वापिस दे दूँ।
7.
तब यह खयाल नहीं रहता कि एक है गाली देनेवाला, एक है जिसको गाली दी गयी है और एक मैं हूं जो देख रहा हूं-गाली देनेवाले को भी, गाली जिसको दी गयी है उसको भी।